Join Whatsapp Group
Join Our Whatsapp Group
दुनिया

Yazidi community- कट्टरपंथी ताकतों से पीड़ित एक प्राचीन और रहस्यमय धर्म

Yazidi community- यजीदी समुदाय (Yazidi community), जो मुख्य रूप से इराक के उत्तर-पश्चिमी पहाड़ी इलाकों में रहता है। इराक, सीरिया और तुर्की में रहने वाले यजीदी एक समूह के रूप में एकांत इलाकों में रहते हैं। पुनर्जन्म, पूजा पद्धति और मोक्ष जैसी उनकी कई मान्यताएँ हिंदुओं से मिलती-जुलती हैं।

Yazidi community- दुनियाभर में कई अल्पसंख्यक समुदायों को कट्टरपंथी ताकतों के कारण भारी उत्पीड़न का सामना करना पड़ रहा है। ऐसा ही एक समुदाय है यजीदी (Yazidi community), जो मुख्य रूप से इराक के उत्तर-पश्चिमी पहाड़ी इलाकों में निवास करता है। कट्टरपंथी आतंकी संगठन ISIS की बर्बरता के कारण यजीदी वर्षों से अपनी पहचान और अस्तित्व की लड़ाई लड़ रहे हैं।

Yazidi community- दुनियाभर में सीमित आबादी

यजीदियों की कुल आबादी लगभग 20 से 30 लाख के बीच है। इराक के अलावा ये जर्मनी, सीरिया, तुर्की, रूस, अमेरिका और कनाडा जैसे देशों में भी रहते हैं। इतने कम जनसंख्या के कारण उनके मुद्दों को वैश्विक मंचों पर अपेक्षित ध्यान नहीं मिलता। 2024 में यजीदी नेताओं ने भारत से मदद की अपील की थी कि वह संयुक्त राष्ट्र में उनके मानवाधिकार मुद्दों को उठाए।

यजीदी धर्म: अनोखी मान्यताओं वाला प्राचीन पंथ

यजीदी धर्म Yazidi community न तो इस्लाम है, न ही हिंदू या ईसाई धर्म। यह एक स्वतंत्र और रहस्यमय धर्म है जिसकी कई मान्यताएं हिंदू और ईसाई धर्म से मिलती हैं। यजीदी केवल जन्म से ही यजीदी बन सकते हैं — किसी बाहरी व्यक्ति का धर्म परिवर्तन कर यजीदी बनना संभव नहीं।

मलक ताउस: मोर के रूप में ईश्वर का प्रमुख अवतार

यजीदी Yazidi community ईश्वर को सृष्टि का रचयिता मानते हैं और विश्वास करते हैं कि सृष्टि के संचालन का कार्य उन्होंने सात फरिश्तों को सौंपा है। इनमें प्रमुख है मलक ताउस, जो मोर के रूप में ईश्वर का अवतार है। यजीदी मोर और मोरपंख की पूजा करते हैं — यही कारण है कि कई लोग उन्हें हिंदू भगवान कृष्ण या दक्षिण भारत के देवता मुरुगन से जोड़कर देखते हैं।

Yazidi community कट्टरपंथियों की नफरत की वजह

कुछ इस्लामिक कट्टरपंथी यजीदियों को “शैतान के उपासक” कहते हैं क्योंकि वे मलक ताउस को शैतान से जोड़कर देखते हैं। हालांकि विशेषज्ञों का कहना है कि यजीदी धर्म का इस्लामिक इतिहास में कुख्यात खलीफा यज़ीद इब्न मुआविया से कोई संबंध नहीं है।

हिंदू संस्कृति से समानताएं

  • यजीदी परंपराओं में कई हिंदू समानताएं देखने को मिलती हैं। उदाहरण के तौर पर:
  • यजीदी महिलाएं शादी में लाल जोड़ा पहनती हैं
  • सूर्योदय और सूर्यास्त के समय पूर्व और पश्चिम की ओर मुख कर प्रार्थना करती हैं
  • वे दीपक जलाकर आरती करते हैं
  • व्रत, मुंडन, और तस्वीरों के सामने पूजा जैसी प्रथाएं निभाते हैं
  • पुनर्जन्म और मोक्ष में विश्वास रखते हैं
  • पवित्र स्थल लालिश और संस्कृति की झलक

इराक में यजीदियों Yazidi community का प्रमुख धार्मिक स्थल लालिश है। यहां एक दीवार पर बनी महिला की छवि, भारतीय संस्कृति से समानता दर्शाती है। वे पृथ्वी, जल और अग्नि को अत्यंत पवित्र मानते हैं — जो हिंदू धर्म से सीधा मेल खाती हैं।

धर्म की रक्षा में अडिग यजीदी Yazidi community

यजीदी समुदाय अपने धर्म को लेकर बेहद दृढ़ है। उनका मानना है कि अगर कोई यजीदी धर्म छोड़ देता है, तो उसके मोक्ष के द्वार बंद हो जाते हैं। यही कारण है कि कई संकटों और नरसंहारों के बावजूद, उन्होंने अब तक अपनी धार्मिक पहचान को बचाए रखा है।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button