
आरा से जितेंद्र कुमार की रिपोर्ट
आरा/बिहिया: संत श्रीदेवराहाशिवनाथदासजी महाराज के सान्निध्य में आज बिहिया चौरास्ता के पास रिलायंस पेट्रोल पंप के पीछे संतश्रीदेवराहाशिवनाथधाम में गुरु पूर्णिमा महोत्सव के अवसर पर संकीर्तन का आयोजन किया गया। संकीर्तन के पूर्व श्रद्धालु भक्तों ने संतश्रीदेवराहाशिवनाथदासजी महाराज की षोडशोपचार विधि से पूजन अर्चन और महाआरती की। इसके बाद त्रिकालदर्शी संतश्रीदेवराहाशिवनाथदासजी ने श्रद्धालु भक्तों को आशीर्वचन देते हुए कहा कि भगवान शिव सच्चे गुरु हैं। सावन मास में ही नहीं अपितु हर समय जीव को अपने गुरु की पूजा अर्चना करनी चाहिए। इससे जीव की आध्यात्मिक उन्नति होती है।वैसे तो आध्यात्मिक जगत में सदगुरू का विशेष महत्व एवम स्थान है।गुरु की कृपा के बिना ईश्वर को पाना असंभव है।जो गुरु से विमुख है वह कभी भी अपने आत्म और ईश्वर को नहीं जान सकता।
‘जीवम भवेत शिवम’
ईश्वरप्राप्ति के लिए सदगुरू की जरूरत है। सद्गुरु जीव को धीरे-धीरे सत्कर्म में प्रवृत्त कर परमात्मा से नजदीकीकरण करा देता है जिससे जीव धन्य हो जाता है। जो जीव गुरु के बताए मार्ग पर चलता है, गुरु को ध्यान में रखकर उठता-बैठता,चलता-फिरता है वह शिव को पाता ही नहीं बल्कि स्वयं शिव हो जाता है,’जीवम भवेत शिवम’।गुरु से विमुख हो कुतर्कों में उलझा जीव जन्म-जन्मांतर तक मारा-मारा फिरता है।कहा भी गया है,’गुरु के बिना सीखे योग,छीजे काया,बढ़े रोग। इसके बाद श्रद्धालु भक्तों के द्वारा संकीर्तन की शुरुआत हुई।वहीं इस संकीर्तन में चना केवटिया के मंटु व्यास, सारंगपुर के जीतन व्यास सहित अन्य नामी-गिरामी संकीर्तन मंडली ने श्रद्धालु भक्तों को अपने संकीर्तन से मुग्ध कर दिया।